Indira Awas Yojana : बड़ा ऐलान! इंदिरा आवास के अधूरे पड़े घरों को सरकार अपने पैसे से बनवाएगी.

इंदिरा आवास के अधूरे पड़े घरों को राज्य सरकार अब अपने पैसे से बनवाएगी। गरीबों को अपना आशियाना बनाने के लिए बिहार समेत देशभर में 1996 से इंदिरा आवास योजना लागू थी। इसके तहत पात्र परिवारों को आवास निर्माण के लिए 35 हजार की सहायता राशि मिलती थी। 2016-17 से प्रधानमंत्री आवास योजना संचालित है। इस नई योजना के लागू होने के बाद आवास के लिए उन्हें कोई मदद का प्रावधान नहीं है, जिन्हें पूर्व में इंदिरा आवास योजना का लाभ मिला हो। लेकिन बिहार में ऐसे लाभुकों की संख्या लाखों में हैं, जिन्हें 2010 के पूर्व ही इंदिरा आवास के तहत सहायता तो मिली, लेकिन उनके घर अपूर्ण ही रह गए।

जिलाधिकारियों को निर्देश, योग्य लाभुकों का चयन करें :

अब राज्य सरकार ने ‘मुख्यमंत्री आवास सहायता योजना’ के तहत इनके घर को साकार करने का ठाना है। ग्रामीण विकास विभाग ने इस बाबत पूरी गाइडलाइन जारी कर दी है। साथ ही सभी डीएम को निर्देश दिया गया है कि वे योग्य लाभुकों का चयन शीघ्र करें। ग्रामीण विकास मंत्री श्रवण कुमार ने बताया कि सर्वेक्षण के बाद अभिलेख की जांच के लिए प्रखंड विकास पदाधिकारी के नेतृत्व में एक जांच दल का गठन होगा, जो योग्य लाभार्थियों को सत्यापित कर सूची तैयार करेंगे। इस योजना अंतर्गत चयनित परिवारों को 50 हजार रुपये की सहायता राशि दो किश्तों में दी जाएगी।